शीघ्र स्थापित होंगी आधुनिक मशीनें
हिमाचल के एकमात्र कैंसर अस्पताल शिमला से अब मरीज पीजीआई रेफर नहीं होंगे। अस्पताल में अब शीघ्र ही लीनियर एक्सीलेटर और सिटी सिम्युलेटर मशीन स्थापित होगी। आईजीएमसी में कैंसर अस्पताल का दूसरा भवन तैयार हो गया है।
इस भवन में कैंसर के इलाज के लिए आधुनिक मशीनों को लगाया जाना है। अब केवल इस भवन के उद्घाटन का इंतजार है। यहां कैंसर के इलाज के लिए इस्तेमाल होने वाली दो आधुनिक मशीनें सिटी सिम्युलेटर और लीनियर एक्सीलेटर लगाई जानी है। इनकी कीमत 24 करोड़ के आसपास है। यह दोनों आधुनिक मशीनें कैंसर के मरीजों के इलाज के लिए कारगर साबित होगी। इन दिनों सभी मरीजों को पीजीआई सहित अन्य राज्यों में उपचार करवाने जाना पड़ रहा है। इस स्थिति में मरीजों को पैसे भी अधिक खर्च करने पड़ रहे है। यह मशीन स्थापित हो जाती है तो कैंसर के मरीजों का अच्छे से इलाज भी होगा।
रेडिएशन का खतरा होगा कम
इन आधुनिक मशीनों के लगने से मरीजों में रेडिएशन का खतरा कम होगा। सिटी सिम्युलेटर मशीन शरीर में कैंसर से प्रभावित हिस्से को आसानी से ढूंढ पाएगी, जिससे डॉक्टर को कैंसर का इलाज करने में भी आसानी होगी। मशीनों के माध्यम से केवल प्रभावित हिस्से पर ही रेडिएशन दिया जाएगा, इससे शरीर का अन्य हिस्सा प्रभावित नहीं होगा। अस्पताल में आधुनिक मशीनों के लगने से मरीजों को बाहरी राज्यों का रुख नहीं करना पड़ेगा।
कीमो थैरेपी के लिए करना पड़ता रहा 2 माह का इंतजार
प्रदेश में प्रति वर्ष लगभग 5000 नए कैंसर मामले सामने आ रहे हैं, जिनमें से 50 प्रतिशत आईजीएमसी में पंजीकृत होते हैं। अस्पताल में यहां थैरेपी के मात्र दो मशीनें है। जबकि इलाज करवाने वालों की संख्या रोजाना 200 से अधिक होती है। मशीनें कम होने के कारण मरीजों को 2 माह तक इंतजार करना पड़ता है। इस अस्पताल में सालों से उपयोग हो रही कीमो थैरेपी मशीनों को तो कई राज्यों में कंडम कर दिया है।